टी. सी. योहानन
T C Yohanan
जन्म : 19 मई, 1947 जन्मस्थान : कुन्दरा (केरल)
इनका पूरा नाम थडायुविला चंदापिल्लई योहानन है। इन्होंने 1974 में तेहरान एशियाई खेलों में 8.07 मीटर का लंबी कूद का नया कीर्तिमान स्थापित किया जो ऐसा कान्टीनेंटल रिकॉर्ड बना कि अगले 30 वर्षों तक नहीं टूट सका। वर्ष 2004 में अमृतपाल सिंह ने इससे बेहतर रिकॉर्ड बना दिया। इन्हें 1974 में अर्जुन पुरस्कार के अतिरिक्त अनेक पुरस्कार प्रदान किए गए हैं।
वर्षों तक टी. सी. योहानन को भारत के ऐसे एथलीट के रूप में याद किया जाएगा, जिन्होंने भारत में लंबी कूद को नई दिशा प्रदान की। उनका बनाया रिकॉर्ड भारत की रिकॉर्ड बुक में सुनहरे अक्षरों में लिखा गया है।
टी. सी. योहानन का जन्म केरल के किलोन जिले के कुन्दरा नामक गाँव में हुआ था। वह मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा धारक हैं तथा बड़ी ऑटोमोबाइल कम्पनी टेल्को में असिस्टेंट पब्लिक रिलेशन्स ऑफिसर के पद पर कार्य कर रहे हैं।
योहानन ने पहली बार 1964 में एझुकोन पंचायत में हुई अन्तर स्कूल मीट में एथलेटिक की ओर रुझान महसूस किया। फिर पब्लिक सेक्टर की भिलाई स्टील प्लान्ट स्पोर्ट्स मीट में 1969 में अपने विभाग की ओर से खेलों में भाग लिया। इसी वर्ष उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर एथलेटिक खेलों में भाग लिया। तब वह लम्बी कूद में चौथे तथा ‘ट्रिपल जंप में पांचवें स्थान पर रहे। 1970 तक वह प्रयास करते रहे और इस बार के राष्ट्रीय खेलों में लम्बी कूद में दूसरे स्थान पर रहे।
1971 में पटियाला में योहानन ने 7.60 मीटर का राष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाया। इसके पश्चात् उनका अन्तरराष्ट्रीय खेलों में भाग लेने के लिए चयन हो गया। सिंगापुर में हुए अन्तरराष्ट्रीय खेलों में योहानन ने दो स्वर्ण पदक जीते। एक पदक लम्बी कूद तथा दूसरा ट्रिपल जंप (तिहरी कूद) के लिए था।
1972 में योहानन ने ट्रिपल जंप में भी राष्ट्रीय चैंपियनशिप में विजय हासिल कर ली। 1973 में उन्होंने नए राष्ट्रीय रिकॉर्ड के साथ 7.78 मीटर की लम्बी छलांग लगाई। 1974 में तेहरान एशियाई खेलों में उन्होंने कमाल कर दिखाया और 8.07 मीटर लम्बी कूद लगा कर वह एशिया तथा भारत में सुर्खियों में छा गए।
1974 में उनकी उपलब्धियों की प्रशंसा के रूप में उन्हें सरकार ने अर्जन परस्कार देकर सम्मानित किया। अगले वर्ष उन्हें जापान की ओर से खेलों में भाग लेने के लिए निमंत्रण मिला और वहाँ भी उन्होंने स्वर्ण पदक जीते। योहान ने रोकियो, हिरोशिमा, कोबे में स्वर्णपदक जीत कर सफलता प्राप्त की। फिर यही सफलता उन्होंने फिलीपीन्स तथा सिबू सिटी की चैंपियनशिप में भी प्राप्त की।
अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर उन्होंने अंतिम बार 1976 के मांटियल खेलों में in लिया, उसके बाद उन्होंने खेलों से संन्यास ले लिया। उन्हें केरल सरकार की ओर से पुरस्कृत किया जा चुका है। उनकी कम्पनी के कर्मचारियों ने उन्हें ‘टेल्को वीर’ पुरस्कार प्रदान किया। उन्हें मुम्बई तथा चेन्नई के खेल पत्रकारों के संगठन की ओर से सम्मानित किया गया है तथा लायन्स क्लब, स्पोर्ट्स वीक, टाटा स्पोर्ट्स क्लब मुम्बई द्वारा भी सम्मानित किया जा चुका है।
उपलब्धियां :
- टी. सी. योहानन भारत के सर्वश्रेष्ठ एथलीटों में गिने जाते हैं। में 1971 में योहानन ने पटियाला में हुए राष्ट्रीय खेलों में 60 मीटर
- का लम्बी कूद का राष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाया। ४ 1972 में योहानन ट्रिपल जंप के राष्ट्रीय चैंपियन बने।।
- 1973 में योहानन ने अपना प्रदर्शन सुधार कर 78 मीटर की लम्बी छलांग लगाई तथा नया राष्ट्रीय कीर्तिमान स्थापित किया।
- 1974 के तेहरान एशियाई खेलों में योहानन ने 07 मीटर की छलांग लगा कर नया एशियाई रिकॉर्ड बनाया। भारतीय खिलाड़ियों के लिए यह एक यादगार रिकॉर्ड बन गए, जिसे 30 वर्ष तक कोई भारतीय खिलाड़ी नहीं तोड़ सका।
- 2004 में यह रिकॉर्ड पंजाब के अमृतपाल सिंह ने 08 मीटर लम्बी छलांग लगा कर तोड़ा।
- 1975 में योहानन ने टोकियो, हिरोशिमा, कोबे, फिलीपीन्स तथा सिबू सिटी में चैंपियनशिप मुकाबलों में स्वर्ण पदक जीते।
- 1974 में योहानन को ‘अर्जुन पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
- उनकी कंपनी ने उन्हें ‘टेल्को वीर’ पुरस्कार से सम्मानित किया गया।