मेरा प्रिय खेल क्रिकेट
Mera Priya Khel Cricket
क्रिकेट हॉकी हमारा राष्ट्रीय खेल है पर आज भारत में क्रिकेट ज्यादा लोकप्रिय है। मेरा प्रिय खेल क्रिकेट है। क्रिकेट की पिच बाईस गज लम्बी होती है। इसके दोनों किनारों पर तीन-तीन विकटें जमीन में गड़ी हुई होती हैं। दो टीमों में प्रतियोगिता होती है। प्रत्येक टीम में ग्यारह-ग्यारह खिलाडी होते हैं। एक टीम के दो खिलाडी खेलते हैं और विरोधी टीम खिलाती है। खिलाने वाली टीम का एक खिलाड़ी गेंद फेंकता है और खेलने वाला खिलाड़ी उसे बल्ले से पीटकर दूर फेंकता है।
क्रिकेट एक अंग्रेज़ी खेल है। यह धनवान लोगों का खेल है। इसमें अच्छे से अच्छे खिलाड़ी भी कभी-कभी शून्य पर आउट हो जाते हैं। भारत वर्ष में भी आजकल यह खेल जन-साधारण में लोकप्रिय हो गया है।
जिन दिनों क्रिकेट मैचों का आयोजन होता है उन दिनों देखने वालों की भारी भीड़ उमड़ पड़ती है। टी.वी. और रेडियो पर इसकी कमेंट्री घर घर में सुनी जाती है। यहाँ तक कि उन दिनों कार्यालयों में लोग स्कोर पूछते देखे गए हैं। इस खेल की लोकप्रियता दिनोंदिन बढ़ती चली जा रही है।
जब क्रिकेट का वर्ड कप होता है तब उसमें कई देशों की टीमें हिस्सा लेती हैं। यह तीन स्तर पर खेल होता है। आज भाग-दौड़ की दुनिया है इसलिए पाँच-पाँच दिन मैच नहीं चलते। अब तो वर्ड कप भी ट्वंटी-ट्वंटी वर्ड कप में सिमट कर रह गया है। कुछ साल पहले ट्वंटी-ट्वंटी वर्ल्ड कप खेला गया। इसमें चौदह देश की टीमों ने हिस्सा लिया। सेमीफाइनल में चार टीम पहुंची। फाइनल में भारत और पाकिस्तान का मुकाबला था। भारत के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने टॉस जीतकर पहले खेलने का निर्णय किया। वीरेन्द्र सहवाग और आर.पी. सिंह ने मैच की शुरुआत की। सुस्त गति से मैच आगे बढ़ रहा था किंतु गौतम गंभीर के आते ही मैच में जान आ गई। टीम इंडिया 157 रन के लक्ष्य को लेकर मैदान में उतरी। हरभजन की गेंदबाजी से चार बॉलों में तीन छक्के लगे तो पाकिस्तान के जीत के होसले बुलन्द होने लगे। टीम इंडिया के लिए खतरे की घंटी बज गई। लेकिन फिल्म अभिनता शाहरूख खान ने मैदान में आकर खिलाडियों का हौसला बढ़ाया। इसके बाद टीम इंडिया जीत की ओर बढ़ने लगी। पाकिस्तान के अच्छे खिलाडी मिस्बाह उल हक के उल्टा शॉट मारने पर पीछे से आते हुए श्रीसंत ने उन्हें कैच आउट कर दिया। टीम इंडिया में जीत की खुशी छा गई। भारत में जगह-जगह आतिशबाजी हुई। ढोल-नगाड़े सुनाई देने लगे। ‘मैन ऑफ द मैच’ शोएब मलिक को चुना गया। इरफान पठान को ‘मैन ऑफ द टूनार्मट’ चुना गया। प्रत्येक खिलाड़ी को पचास-पचास लाख रुपए और यवराज सिंह को छह बॉलों पर छह छक्के लगाने के लिए एक करोड़ रुपए दिए गए। वर्ड कप लाने पर मुंबई में टीम इंडिया का स्वागत.