आप छात्रावास में रहते हुए अपनी माँ को बहुत याद करते हैं। उनकी बहुत-सी बातें आपको याद आती रहती हैं। कुछ का उल्लेख करते हुए अपनी माँ को एक पत्र लिखो।
आशा बत्रा
26भगतसिंह छात्रावास
सरस्वती विद्यामंदिर
जालंधर
13.8.2014
पूज्य माता जी
सादर चरण स्पर्श!
मैं यहाँ कुशल हूँ। छात्रावास में सारी सुविधाएँ उपलब्ध हैं। पर माँ आप यहाँ नहीं हैं। यह बात मुझे बहुत कचोटती है। आपसे बातें करने का दिल करता है। भोजन करते हुए आपके हाथों से परोसी रोटी याद आती है। विशेष रूप से आपका मोठा स्वर याद आता है। यहाँ जो भी कहा जाता है, प्रेम से नहीं, अनुशासन-भरे आदेश से कहा जाता है।
मुझे लगने लगा कि रोटी, कपड़ा और मकान ही सब कुछ नहीं हुआ करता। माँ के प्यार की जगह कोई नहीं ले सकता। पहले कुछ दिनों तक तो मैंने आपको बताया नहीं। मैं आपके बिना बहुत उदास रही। अब ठीक हूँ। आप रोज शाम को एक बार होस्टल में फोन करके मुझेसे बात कर लिया करें। बात करके मुझे चैन पड़ जाती है।
आपकी प्रिया
आशा