कैमरा
Camera
कैमरा एक वैज्ञानिक यंत्र है। इसका आविष्कार (सन् 1015-1021 ई० में) इराकी वैज्ञानिक इब्न-अल-हेथम (अलहजन) ने किया था और सन् 1660 में आयरिश वैज्ञानिक रॉबर्ट बॉयल तथा रॉबर्ट हूक ने इसका और विकास किया। फिर 1685 ई० में जोहन जहन ने इसे और परिष्कृत किया। इस प्रकार कैमरे का उत्तरोत्तर विकास होता गया। प्रथम रगान कैमरा 1861 में स्कॉटिश भौतिक विज्ञानी जेम्स क्लर्क मैक्सवेल ने अंग्रेज आविष्कारक एवं फोटोग्राफर थॉमस सुतन की सहायता से बनाया था।
कैमरा एक ऐसा यंत्र है जिससे फोटो खींचे जाते हैं। कैमरे से दो प्रकार की फोटो खींची जाती हैं अचल अथवा स्थिर और सचल अथवा चलती-फिरती। कैमरे दो प्रकार के होते हैं-स्टिल अथवा साधारण कैमरा और वीडियो कैमरा। साधारण कैमरे से स्टिल (स्थिर) फोटो खींचे जाते हैं, जिन्हें हम फ्रेम में लगाते हैं और वीडियो कैमरे से चलती-फिरती (सचल) तस्वीरें ली जाती हैं जिन्हें हम टी.वी. या कंप्यूटर पर देख सकते हैं।
कैमरा शब्द लैटिन के “कैमरा ऑब्सक्यूरा” से बना है जिसका अर्थ होता है-डार्क चैंबर या डार्क रूम या डार्क बॉक्स अर्थात् अँधेरी कोठरी। कैमरा मुख्य रूप से एक डार्क बॉक्स ही है जिसके अंदर कोई प्रकाश नहीं होता। इसमें एक लेंस और एक शटर लगा होता है। कैमरे में एक प्रकाश-सुग्राही फिल्म (लाइट-सेंसीटिव फिल्म) होती है। जब कैमरे का शटर खुलता है तो उस फिल्म पर जो कुछ भी उसके सामने होता है उसकी एक इमेज (तस्वीर) बन जाती है। इसी प्रकार टेलीविज़न कैमरे विजुअल इमेज (दृष्टिगोचर प्रतिबिंब) को इलैक्ट्रिक सिगनल (विद्युत सिगनल) में परिवर्तित करके टी.वी. पर चलती-फिरती पिक्चर दिखाते हैं।
आजकल मूविंग पिक्चर्स (चलती-फिरती तस्वीरें) के लिए डिजीटल कैमरे बहुत प्रचलन में हैं। इस कैमरे से वीडियो और स्टिल-दोनों प्रकार की फोटोग्राफी की जा सकती है। इस कैमरे से वीडियो फोटोग्राफी के साथ-साथ आवाज़ भी रिकार्ड की जा सकती है। ये डिजीटल कैमरा 35 एम.एम. तक की फिल्म बनाने में सक्षम होते हैं।
आजकल तो मोबाइल फोन में भी स्टिल और वीडियो-दोनों प्रकार कैमरे लगे होते हैं। डिजीटल कैमरे कई प्रकार के होते हैं कॉम डिजीटल कैमरा, ब्रिज डिजीटल कैमरा, डिजीटल सिंगल लेंस रिक कैमरा. डिजीटल रेंजफाइंडर्स कैमरा आदि। अब तो कैमरे में मीरा लगी होती है जिसमें फिल्म रिकार्ड होती रहती है। सन् 1988 में और ई.जी. तथा एम.पी.ई.जी. की सहायता से तस्वीरें और वीडियो फा कम्प्रेस्ड (दबाकर) करके स्टोर की जाने लगी थीं। इसके अतिरिक छोटे-छोटे कैमरों के साथ बैटरी भी लगी होती है जिसे कहीं भी प्रयोग में लाया जा सकता है।
संप्रति कैमरा एक व्यवसाय बन गया है। कैमरा चलाने वाले को कैमरामेन कहते हैं। समाचार-पत्रों, मैगज़ीन एवं दूरदर्शन आदि में कैमरामेन को आसानी से काम मिल जाता है। कई लोग स्टूडियो खोलकर स्वतंत्र व्यवसाय भी करते हैं।
आज कैमरा मनोरंजन के साथ-साथ आदमी की जीविका का भी एक प्रमुख साधन है। कैमरा चलाने का कोर्स करके कोई व्यक्ति कैमरामेन से एक है। बन सकता है। वर्तमान में कैमरा मनुष्य की मूलभूत आवश्यकताओं में