Hindi Letter Writing “Saheli ko Patra likhkar apni maa ke parishram ke bare me bataye”, “सहेली को पत्र लिखकर बताइए कि उसकी विधवा माँ किस प्रकार परिश्रम करके उसकी पढ़ाई का खर्च भेजा करती है” Hindi letter for Class 5,6,7,8,9 and 10

 

अपनी सहेली को पत्र लिखकर बताइए कि उसकी विधवा माँ किस प्रकार परिश्रम करके उसकी पढ़ाई का खर्च भेजा करती है।

 

103, झिलमिल कालोनी,

दिल्ली।

 

प्रिय सखी सीमा,

सप्रेम नमस्ते।

आशा है, तुम प्रसन्न होंगी। कई दिन से तुम्हारा पत्र नहीं आया, तो तुम्हारी माताजी काफी चिन्तित थीं। उनकी चिन्ता स्वाभाविक ही है। उनका इस दुनिया में कोई नहीं है। उनकी आशाएँ तुमसे ही बंधी हैं। उन्हें तुम्हारी फीस के कारण कड़ी मेहनत करनी पड़ती है। वह एक महीने से अस्वस्थ हैं। फिर भी वह लगातार सिलाई का काम कर रही हैं और इससे तुम्हारी फीस भेजनी थी। प्रिय सहेली जिस परिश्रम से तुम्हारी माँ तुम्हें पढ़ा रही हैं, तुम भी इतनी मेहनत करो कि सब तुम्हारी वाह-वाह कर उठे। तुम्हारी माँ हर हाल में तुम्हारी सफलता देखना चाहती हैं। वह तुम्हें अपना बेटा ही मानती हैं।

कल मैंने तुम्हारे नाम मनीआर्डर भेजा था। एक या दो दिन में तुम्हें मिल जाएगा। पत्रोत्तर शीघ्र दे दिया करो |

पत्रोत्तर की आशा में।

 

तुम्हारी सहेली

क. ख. ग.

 

दिनांक: 1 अगस्त, 1999

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