खेल के क्षेत्र में उभरता भारत
Khel ke Kshetra mein Ubharta Bharat
उत्तर-मानव के समग्र विकास में खेलों की अहम भूमिका रही है। खेल मनोरंजन के साधन और शारीरिक दक्षता पाने के एक माध्यम के साथ-साथ लोगों के बीच स्वस्थ और प्रतिस्पर्धा की भावना विकसित करने और उनके बीच के संबंधों को अच्छा बनान में भी सहायता करता है। अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर खेल के क्षेत्र में प्राप्त उपलब्धियों ने राष्ट्र को हमेशा गौरवान्वित किया है। बुनियादी स्तर पर खेल संबंधी सुविधाएं उपलब्ध कराना, खेलों में लोगों द्वारा बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया जाना, खेल और शिक्षा का एकीकरण आदि इस दिशा में महत्त्वपूर्ण हैं। प्रारम्भिक भारत में खेलों की परंपरा पुरानी है। यह परंपरा आज भी किसी न किसी रूप में विद्यमान है। भारत प्रत्येक खेल के खिलाड़ी की प्रतिभा को पहचान कर उसे निखार रहा है। बेहतरीन खिलाडियों को देश और विदेश में उच्च प्रशिक्षण प्रदान करना, खेलने के अवसर प्रदान करना, खेलों के बारे में जानकारी प्राप्त करना आदि बातों पर ध्यान दिया जाता रहा। है। इसी कारण भारत अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इस क्षेत्र में प्रगति कर रहा है। लेकिन अभी भी स्वस्थ भारत के निर्माण के लिए खेला में लोगों को अधिक से अधिक रुचि लेने की आवश्यकता है। भारत राष्ट्रीय खेलों की दनिया में अपना नाम रोशन कर रहा है। चाहे कोई भी खेल हो भारत उसमें अपना परचम लहराता दिखाई देगा। हालाँकि विश्व स्तर खेले गए खेलों में हमें कुछ खेलों में निराशा भी प्राप्त हुई है। आज धोनी व विराट कोहली के नेतृत्व में खेल की टीम विश्व की विख्यात खेल टीम मानी जाती है। इस टीम में श्रेष्ठतम भारतीय खिलाड़ी भाग लेते हैं। जैसे सुरेश रैना, गौतम गंभीर। विश्व कप हो या ट्वन्टी-ट्वन्टी, सभी में भारत अपनी प्रतिभा का परिचय दे रहा है। सानिया मिर्जा, पी.बी. संधु, साक्षी मलिक जैसी खेल प्रतिभाएं हैं जिन्होंने देश का गौरव बढ़ाया है। भारत सरकार ने भी खेलों को बढ़ावा देने का खास इंतजाम किया है। जगह-जगह खिलाड़ियों को प्रशिक्षित किया जा रहा है। प्रशिक्षित खिलाड़ी खेल के मैदान में अपना परिचय दे रहे हैं और भारत का नाम ऊँचा कर रहे हैं।